10 December School Holiday: कल मंगलवार को इन जिलों में स्कूल रहेंगे बंद, घोषित हुआ स्थानीय अवकाश

इस विशेष दिन को क्यों चुना गया अवकाश के लिए? शहीद वीर नारायण सिंह के बलिदान दिवस के कारण बिलासपुर में छुट्टी का ऐतिहासिक महत्व जानें। जानिए कैसे यह छुट्टी छत्तीसगढ़ के इतिहास को सम्मान देती है और किस तरह यह राज्यवासियों के लिए गर्व और प्रेरणा का स्रोत बन गई है।

By Praveen Singh
Published on
UP: यहाँ बन रहे तीन नेशनल हाईवे ने बदल दी जिंदगी, 195 गांवों के किसान हुए मालामाल

दिसंबर का महीना आते ही ठंड की दस्तक होती है और हर किसी का दिल छुट्टियों का इंतजार करता है। इस बार 10 दिसंबर 2024 को बिलासपुर में विशेष अवकाश घोषित किया गया है। बिलासपुर के कलेक्टर अवनीश शरण ने यह निर्णय लिया है, जो स्थानीय लोगों के लिए गर्व और सम्मान का कारण बन चुका है। इस दिन को शहीद वीर नारायण सिंह के बलिदान दिवस के रूप में मनाया जाता है। यह छत्तीसगढ़ के गौरवशाली इतिहास का हिस्सा है और इस छुट्टी का महत्व अब और भी बढ़ गया है।

कलेक्टर का निर्णय

बता दें, बिलासपुर के कलेक्टर अवनीश शरण ने पहले घोषित किए गए 1 नवंबर 2024 (गोवर्धन पूजा) के अवकाश को निरस्त करते हुए 10 दिसंबर 2024 को शहीद वीर नारायण सिंह के बलिदान दिवस के रूप में स्थानीय अवकाश घोषित किया। यह निर्णय छत्तीसगढ़ के इतिहास और संस्कृति को सम्मान देने के उद्देश्य से लिया गया। शहीद वीर नारायण सिंह की वीरता और उनके योगदान को याद करते हुए इस दिन को विशेष तौर पर मनाने का निर्णय लिया गया है।

छत्तीसगढ़ के पहले स्वतंत्रता सेनानी

10 दिसंबर का दिन छत्तीसगढ़ के इतिहास में विशेष महत्व रखता है क्योंकि इस दिन शहीद वीर नारायण सिंह का बलिदान हुआ था। 1857 में भारतीय स्वतंत्रता संग्राम की शुरुआत के समय वीर नारायण सिंह ने अंग्रेजों के खिलाफ संघर्ष किया था। उनका संघर्ष छत्तीसगढ़ के आदिवासियों और किसानों के अधिकारों की रक्षा के लिए था। 10 दिसंबर 1857 को रायपुर के जय स्तंभ चौक में उन्हें फांसी दी गई, लेकिन उनका नाम और उनकी वीरता आज भी राज्यवासियों के दिलों में जीवित है।

शहीद वीर नारायण सिंह का योगदान

शहीद वीर नारायण सिंह का योगदान सिर्फ ब्रिटिश शासन के खिलाफ संघर्ष तक सीमित नहीं था। वे छत्तीसगढ़ के आदिवासियों और किसानों के अधिकारों के लिए भी संघर्षरत थे। उनके बलिदान ने न सिर्फ राज्य की सांस्कृतिक पहचान को मजबूती दी, बल्कि पूरे देश के स्वतंत्रता संग्राम को भी एक नया मोड़ दिया। उनके सम्मान में नवा रायपुर में देश का दूसरा सबसे बड़ा क्रिकेट स्टेडियम भी बनवाया गया, जो छत्तीसगढ़वासियों के लिए एक बड़ी उपलब्धि है।

स्थानीय अवकाश पर जनता की प्रतिक्रिया

10 दिसंबर के अवकाश की घोषणा के बाद, बिलासपुर और आसपास के इलाकों में खासा उत्साह देखा गया। स्थानीय लोग इस कदम को छत्तीसगढ़ के गौरवशाली इतिहास को सम्मान देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण निर्णय मान रहे हैं। यह अवकाश न केवल शहीद वीर नारायण सिंह के योगदान को याद करने का एक अवसर है, बल्कि यह स्थानीय लोगों के लिए प्रेरणा का भी स्रोत बन चुका है। जनता ने इसे एक सकारात्मक और प्रेरणादायक कदम के रूप में देखा है।

यह भी देखें Post Office RD Scheme: हर महीने ₹2000 रूपये जमा करने पर मिलेंगे ₹1,42,732 रूपए

Post Office RD Scheme: हर महीने ₹2000 रूपये जमा करने पर मिलेंगे ₹1,42,732 रूपए

दिसंबर 2024 में छुट्टियों की जानकारी

दिसंबर 2024 में कुल पांच रविवार पड़ रहे हैं, जो इसे और भी खास बनाते हैं। इस महीने में लोग अपने परिवार के साथ समय बिता सकते हैं, खासकर छुट्टियों के दौरान। 1 दिसंबर से लेकर 29 दिसंबर तक हर रविवार को छुट्टी होगी, जो पिकनिक, ट्रैवलिंग और अन्य गतिविधियों के लिए आदर्श समय है। इसके अलावा, 10 दिसंबर का स्थानीय अवकाश भी इस माह को खास बनाता है, जिससे परिवारों को एक और अवकाश का मौका मिलेगा।

(FAQs)

1. 10 दिसंबर को बिलासपुर में अवकाश क्यों है?
यह अवकाश शहीद वीर नारायण सिंह के बलिदान दिवस के अवसर पर घोषित किया गया है। यह निर्णय छत्तीसगढ़ के इतिहास और संस्कृति को सम्मान देने के लिए लिया गया है।

2. शहीद वीर नारायण सिंह का योगदान क्या था?
वे छत्तीसगढ़ के पहले स्वतंत्रता सेनानी थे, जिन्होंने ब्रिटिश शासन के खिलाफ संघर्ष किया और आदिवासियों व किसानों के अधिकारों के लिए अपनी जान दी।

3. दिसंबर 2024 में कितने रविवार हैं?
इस महीने में कुल पांच रविवार पड़ रहे हैं, जो इसे विशेष बनाते हैं।

यह भी देखें School Holidays: स्कूलों में शीतकालीन अवकाश घोषित, देखें कितने दिन के लिए रहेंगे बंद

School Holidays: स्कूलों में शीतकालीन अवकाश घोषित, देखें कितने दिन के लिए रहेंगे बंद

Leave a Comment